Sanskrit Vyakaran Visheshan PDF
Sanskrit Vyakaran Visheshan PDF ( संस्कृत व्याकरण विशेषण ) : दोस्तो आज इस पोस्ट मे संस्कृत व्याकरण (Sanskrit Grammar) के विशेषण टॉपिक का विस्तारपूर्वक अध्ययन करेंगे । यह पोस्ट सभी शिक्षक भर्ती परीक्षा व्याख्याता (School Lecturer), द्वितीय श्रेणी अध्यापक (2nd Grade Teacher), REET 2021, RPSC, RBSE REET, School Lecturer, Sr. Teacher, TGT PGT Teacher, 3rd Grade Teacher आदि परीक्षाओ के लिए महत्त्वपूर्ण है । अगर पोस्ट पसंद आए तो अपने दोस्तो के साथ शेयर जरूर करे ।
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Sanskrit Vyakaran Visheshan PDF ( संस्कृत व्याकरण विशेषण )
जो किसी व्यक्ति या वस्तु या किसी स्थान आदि की विशेषता बताए उसे ‘विशेषण’ कहा जाता है।
‘विशेष्य’ – जिसकी विशेषता बताई जाए वह ‘विशेष्य’।
जो लिंग, विभक्ति और वचन विशेष्य के होंगे वही विशेषण के भी होंगे।
विशेषण के भेद-विशेषण मुख्यतः छः प्रकार के होते हैं-
- गुणवाचक विशेषण– किसी वस्तु के गुण तथा तुलनावाचक शब्द गुणवाचक विशेषण होते हैं। जैसे-सुन्दरः बालकः। रम्यतरः, कृष्णः आदि।
- संख्यावाचक विशेषण– यथा-एकः छात्रः। पञ्च बालिका: आदि।
- परिमाणवाचक विशेषण– यथा-अल्पं जलम् क्रोशमितम् आदि।
- संकेतवाचक विशेषण- जो विशेषण संज्ञा की ओर संकेत करते हैं, वे संकेतवाचक विशेषण होते हैं। जैसे-सः बालकः, सा बालिका आदि।
- व्यक्तिवाचक विशेषण– यथा- भारतीयः पुरुषः।
- विभागवाचक विशेषण– यथा-प्रत्येकं जनम्।
- गुणवाचक विशेषण :-जिन विशेषण शब्दों से संज्ञा अथवा सर्वनाम शब्दों के गुण – दोष का बोध हो वे गुणवाचक विशेषण कहलाते हैं।
जैसे :-
- भाव- अच्छा, बुरा, कायर, वीर, डरपोक आदि।
- रंग- लाल, हरा, पीला, सफेद, काला, चमकीला, फीका आदि।
- दशा- पतला, मोटा, सूखा, गाढ़ा, पिघला, भारी, गीला, गरीब, अमीर, रोगी, स्वस्थ, पालतू आदि।
- आकार- गोल, सुडौल, नुकीला, समान, पोला आदि।
- समय- अगला, पिछला, दोपहर, संध्या, सवेरा आदि।
- स्थान- भीतरी, बाहरी, पंजाबी, जापानी, पुराना, ताजा, आगामी आदि।
- गुण- भला, बुरा, सुन्दर, मीठा, खट्टा, दानी,सच, झूठ, सीधा आदि।
- दिशा- उत्तरी, दक्षिणी, पूर्वी, पश्चिमी आदि।
इसे भी पढे : हिन्दी व्याकरण विशेषण
- परिमाणवाचक विशेषण :-जिन विशेषण शब्दों से संज्ञा या सर्वनाम की मात्रा अथवा नाप-तोल का ज्ञान हो वे परिमाणवाचक विशेषण कहलाते हैं।
परिमाणवाचक विशेषण के दो उपभेद है :-
(1) निश्चित परिमाणवाचक विशेषण :- जिन विशेषण शब्दों से वस्तु की निश्चित मात्रा का ज्ञान हो।
जैसे :-
- (क) मेरे सूट में साढ़े तीन मीटर कपड़ा लगेगा।
- (ख) दस किलो चीनी ले आओ।
- (ग) दो लिटर दूध गरम करो।
(2) अनिश्चित परिमाणवाचक विशेषण :- जिन विशेषण शब्दों से वस्तु की अनिश्चित मात्रा का ज्ञान हो।
जैसे :-
- (क) थोड़ी-सी नमकीन वस्तु ले आओ।
- (ख) कुछ आम दे दो।
- (ग) थोड़ा-सा दूध गरम कर दो।
- संख्यावाचक विशेषण :-जिन विशेषण शब्दों से संज्ञा या सर्वनाम की संख्या का बोध हो वे संख्यावाचक विशेषण कहलाते हैं।
जैसे :- एक, दो, द्वितीय, दुगुना, चौगुना, पाँचों आदि।
संख्यावाचक विशेषण के दो उपभेद हैं :-
(1) निश्चित संख्यावाचक विशेषण :- जिन विशेषण शब्दों से निश्चित संख्या का बोध हो।
जैसे :- दो पुस्तकें मेरे लिए ले आना।
निश्चित संख्यावाचक के निम्नलिखित चार भेद हैं :-
(क) गणवाचक :- जिन शब्दों के द्वारा गिनती का बोध हो।
जैसे :-
- एक लड़का स्कूल जा रहा है।
- पच्चीस रुपये दीजिए।
- कल मेरे यहाँ दो मित्र आएँगे।
- चार आम लाओ।
(ख) क्रमवाचक :- जिन शब्दों के द्वारा संख्या के क्रम का बोध हो।
जैसे :-
- पहला लड़का यहाँ आए।
- दूसरा लड़का वहाँ बैठे।
- राम कक्षा में प्रथम रहा।
- श्याम द्वितीय श्रेणी में पास हुआ है।
(ग) आवृत्तिवाचक :- जिन शब्दों के द्वारा केवल आवृत्ति का बोध हो। जैसे-
- मोहन तुमसे चौगुना काम करता है।
- गोपाल तुमसे दुगुना मोटा है।
(घ) समुदायवाचक :- जिन शब्दों के द्वारा केवल सामूहिक संख्या का बोध हो।
जैसे :-
- तुम तीनों को जाना पड़ेगा।
- यहाँ से चारों चले जाओ।
(2) अनिश्चित संख्यावाचक विशेषण :- जिन विशेषण शब्दों से निश्चित संख्या का बोध न हो।
जैसे-कुछ बच्चे पार्क में खेल रहे हैं।
क्र.सं. | विषय-सूची | Download PDF |
1 | वर्ण विचार व उच्चारण स्थान | Click Here |
2 | संधि – विच्छेद | Click Here |
3 | समास | Click Here |
4 | कारक एवं विभक्ति | Click Here |
5 | प्रत्यय | Click Here |
6 | उपसर्ग | Click Here |
7 | शब्द रूप | Click Here |
8 | धातु रूप | Click Here |
9 | सर्वनाम | Click Here |
10 | विशेषण – विशेष्य | Click Here |
11 | संख्या ज्ञानम् | Click Here |
12 | अव्यय | Click Here |
13 | लकार | Click Here |
14 | माहेश्वर सूत्र | Click Here |
15 | समय ज्ञानम् | Click Here |
16 | विलोम शब्द | Click Here |
17 | संस्कृत सूक्तय | Click Here |
18 | छन्द | Click Here |
19 | वाच्य | Click Here |
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21 | संस्कृत अनुवाद | Click Here |
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बहुत अच्छी लगी। और अधिक विस्तार से जानने की इच्छा है।